मुख्य बिंदु-
– 26 जुलाई 2008 को हुए थे बम धमाके,13 साल बाद इंसाफ
– आरोपियों में उज्जैन के सफदर नागौरी, आमिल परवाज और कमरूद्दीन चांद मोहम्मद भी
– देश के इतिहास में सबसे बड़ी सजा , 38 दोषियों को फांसी की सजा,11 को उम्र कैद
– 70 मिनट में हुए थे 21 धमाके
साल 2008 में गुजरात के अहमदाबाद में हुए सीरियल बम धमाकों के मामले में दोषियों को सजा सुना दी गई है. इस मामले में 49 अभियुक्तों में से 38 लोगों को फांसी की सजा सुनाई गई है.विशेष न्यायाधीश एआर पटेल की अदालत ने 49 अभियुक्तों में से 38 लोगों को फांसी की सजा सुनाई गई है. बाकी 11 दोषियों को उम्र कैद हुई है.
अहमदाबाद में 26 जुलाई 2008 को हुए सिलसिलेवार बम धमाके में, 70 मिनट के भीतर 56 लोगों की मौत हो गई थी और 200 से अधिक घायल हो गए थे. अदालत में 13 साल से भी ज्यादा समय तक मामला चलने के बाद, गत सप्ताह 49 लोगों को दोषी ठहराया गया और 28 अन्य को बरी कर दिया गया था.
सोमवार को अभियोजन पक्ष ने दलीलें खत्म की थीं और अभियुक्तों को अधिकतम सजा देने का अनुरोध किया था. अदालत ने 77 अभियुक्तों के खिलाफ पिछले साल सितंबर में मुकदमे की कार्यवाही खत्म की थी. विचाराधीन 78 आरोपियों में से एक सरकारी गवाह बन गया था. पुलिस का दावा है कि उक्त आरोपी आतंकी संगठन इंडियन मुजाहिदीन से जुड़े हैं. आरोप था कि इंडियन मुजाहिदीन के आतंकवादियों ने 2002 में हुए गोधरा दंगे का प्रतिशोध लेने के लिए बम धमाके की साजिश रची थी.