भोपाल. भोपाल लोकायुक्त पुलिस ने एक सब-इंस्पेक्टर को रिश्वत लेते रंगे हाथों गिरफ्तार किया है. आरोप है कि सब-इंस्पेक्टर ने एक आरोपी को जमानत देने के एवज में उससे 10 हजार रुपए की रिश्वत मांगी थी. सब-इंस्पेक्टर के खिलाफ धारा 7 भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया है.
मिली जानकारी के मुताबिक तलैया निवासी मसूद अली ने 23 अगस्त को लोकायुक्त भोपाल में शिकायत की थी कि नौ अगस्त को उनके भतीजे का आशिमा माल होशंगाबाद रोड पर कुछ युवकों से विवाद हो गया था. इस मामले में मिसरोद थाना पुलिस ने काउंटर केस किया था. इस मामले की जांच सब-इंस्पेक्टर प्रकाश राजपूत कर रहे थे. उन्होंने मसूद के भतीजे की गिरफ्तारी नहीं करने को लेकर 10 हजार रुपए जमानत के लिए रिश्वत मांगी थी.
ऐसे हुआ ‘रिश्वतखोर’ इंस्पेक्टर ट्रैप
लोकायुक्त पुलिस अधीक्षक (एसपी) मनु व्यास ने कहा कि फरियादी मसूद की शिकायत की जांच करने के बाद पाया गया कि सब-इस्पेक्टर उससे रिश्वत की मांग कर रहा है. इसके बाद मसूद और सब-इंस्पेक्टर प्रकाश राजपूत के बीच हुई बातचीत को रिकॉर्ड किया गया. प्रकाश ने मसूद को वीआईपी रोड गौहर महल के पास रिश्वत देने के लिए बुलाया.
वहीं, मामले की जांच कर रही लोकायुक्त की टीम ने पहले से घेराबंदी कर के रखी थी. जैसे ही मसूद ने रिश्वत के रुपये एसआई प्रकाश राजपूत को दिए लोकायुक्त पुलिस की टीम ने उसे रंगे हाथ दबोच लिया. मिसरोद थाने में तैनात सब-इंस्पेक्टर प्रकाश राजपूत को लोकायुक्त की टीम ने 8,500 रुपए रिश्वत लेते रंगे गिरफ्तार किया.